बुद्धिजीवियों ने धर्म पर काफी कुछ लिखा-बोला पर है पर मौजूदा स्थिति में वे आम जन से संवाद स्थापित नहीं कर पा रहे हैं। संवेदनशील मुद्दों पर घर के बाहर “खुले में” बात…
हमारे समाज का तथाकथित प्रगतिशील तबका एक साथ कई आवरणों में जीता है। कभी आपको लग सकता है कि महिलाओं के मामले में वह काफी रैडिकल पोजीशन लेकर खड़ा है लेकिन जब बात…
[मलूका इधर बहुत बिजी रहे। मंत्रियों को चार्ज-वार्ज दिलवाना था। कश्मीर पर शाह जी का भाषण कराना था। मोदी जी से उसको ट्वीट कराना था। न शाखा बाबू के घर जा सके, न…
किसी भी देश या फिर इलाके के विकास के लिए ज़रूरी है कि गर्भवती औरतों और नवजातों की मौत को कम किया जाय, किन्तु कॉर्पोरेटपरस्ती के लिए चलाये जा रहे आर्थिक विकास के अजेंडे…
हमारी संस्कृति का ताना-बाना पूरी तरह धर्म के इर्द-गिर्द बुना हुआ है। कई मायनों में यह जुड़ाव इस हद तक है कि धर्म और संस्कृति का भेद न के बराबर है। देश की…
पिछली बार मैंने स्वतंत्र भारत के 72 साल के इतिहास में जिन पांच-छह बड़ी घटनाओं का जिक्र किया था, उसमें इमरजेंसी के अलावा 1984 के सिख विरोधी दंगे, मंडल आयोग को लागू किया…
वैसे तो इस स्तम्भ के मूल में भौतिक विषयों की चर्चा ही है पर जब हम मौजूदा स्थितियों को खंगालने निकले तो पाया की समस्या का आधार आध्यात्मिक ज़्यादा है । फिर क्यों…
स्वतंत्र भारत के 72 साल के इतिहास में जो चार-पांच बड़ी घटनाएं हुई हैं जो देश को लंबे समय तक प्रभावित करेंगी उनमें मैं इमरजेंसी को शामिल करता हूं। इसके अलावा 1984 के…
खबर यह है कि कोई खबर ही नहीं है । प्रधानमंत्री अपनी कैबिनेट के साथ शपथ ले चुके हैं, वित्त को रक्षा प्राप्त हो गयी है, और हम-आप पांच साल के लिये सो…
जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव की तैयारियां शुरू हो गईं हैं। निर्वाचन आयोग ने अब कहा है कि वह इस बार की अमरनाथ यात्रा के बाद विधानसभा चुनाव कार्यक्रम की घोषणा कर सकता है। यह…
चुनाव बाद योगी अयोध्या पहुंचे। अयोध्या में भगवान राम की आदमकद काष्ठ प्रतिमा का अनावरण किया। उनके इस कृत्य से हरषित भए गए सब संता। बस आकाश से पुष्प वर्षा न हुई। एक…
भारत की तीनों प्रमुख संसदीय कम्युनिस्ट पार्टियों की 2019 के आम चुनाव में जबरदस्त हार हुई है। उन्होंने केरल, पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु समेत विभिन्न राज्यों में एक सौ से अधिक प्रत्याशी खड़े किये…
सरकार बन गयी, शपथ ग्रहण हो गया। राम काज खतम, अब काम काज शुरु। शाखा बाबू अब फुल विश्राम मोड में हैं। उन्हें जो कुछ चिन्ता थी भी वो अमित शाह के गृह…
यह चुनाव नेताओं, सीटों, दलों, सरकार या संस्थाओं के बारे में नहीं है. यह केवल उन लोगों के बारे में है जो 2014 में 31% थे और 2019 में भाजपा का समर्थन करते…
सत्रहवीं लोकसभा के चुनाव में भाजपा प्रचंड बहुमत से सरकार बना चुकी है। सत्ताधारी पार्टी भाजपा और गठबंधन में जहां उत्साह है वहीं विपक्ष इसको अप्रत्याशित जीत मान कर हताश है। समाजवादी, गांधीवादी,…
देश भर में सम्पन्न हुए आम चुनाव ने बहुत से मामलों मे सीधी लकीर खींच दी है. देश भर में बहुजन और ओबीसी राजनीति की ठेकेदारी जिन खानदानों और कुनबों के कंधों पर…
आम चुनाव 2019 के परिणामों के विश्लेषण विभिन्न आयामों के सन्दर्भ में लम्बे अरसे तक किये जाते रहेंगे। इनमें महिलाओं का भारी मतदान और महिला प्रत्याशिओं का अपेक्षाकृत बेहतर प्रदर्शन भी शामिल है।…
कभी चुनाव विश्लेषक रहे और अब स्वराज इंडिया नाम की राजनीतिक पार्टी चला रहे योगेंद्र यादव ने अपने स्वैच्छिक कार्यकर्ताओं को एक आभार संदेश भेजा है। स्वराज इंडिया के प्रेसीडियम की ओर से…
आजादी के आंदोलन से निकली देश की सबसे पुरानी पार्टी कांग्रेस, इतिहास के अपने सबसे बुरे दौर से गुजर रही है। लगातार दो लोकसभा चुनाव में मुंह की खा चुकी पार्टी में आत्ममंथन…
राघव बहल और संजय पुगलिया से बातचीत में राहुल गांधी ने कहा था कि हर आइडिया का एक टाइमफ्रेम होता है जिसके बाद वो काम करना बंद कर देता है. सात दशक तक…
सोलहवीं लोकसभा चुनने के लिए 2014 में हुआ आम चुनाव पिछले सभी आम चुनावों के मुकाबले कई मायनों में खास रहा। खास इस मायने में कि भाजपा के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र…
सत्रहवीं लोकसभा के लिए चुनाव के 11 अप्रैल से शुरू हुए मतदान के सातवें एवं अंतिम चरण में रविवार 19 मई को वोटिंग समाप्त होते ही विभिन्न पोल्स्टर एजेंसियों और खबरिया टीवी चैनलों…
कांग्रेस के नेतृत्व में यूपीए ने 2009 का चुनाव अर्थव्यवस्था के मोर्चे पर अपनी सरकार के संतोषजनक प्रदर्शन के सहारे लड़ा। इस चुनाव में उसे उसकी मनरेगा जैसी कल्याणकारी महत्वाकांक्षी योजना के कारण…
कांग्रेस के लिए बड़ी खबर है कि 2019 लोकसभा चुनाव में ‘पप्पू’ पास हो गया, लेकिन फिलहाल भाजपा के अन्दरखाते भी नहीं पता कि उनका ‘फेंकू’ झोला उठा कर जायेगा या नहीं। इसके लिए उन्हें भी 23 मई…
शाखा बाबू की तबीयत ख़राब है। अन्तिम चरण में उनके यहां भी वोटिंग थी। कभी बरखा-बुन्नी तो कभी बदरफट्टू घाम। फिर भी वोट देने गए और जब से लौटे हैं खटिया पर हैं।…