सुप्रीम कोर्ट की विशेष पीठ ने सोमवार को मुंबई उपनगर में आरे कॉलोनी में पेड़ों की कटाई पर यथास्थिति बनाए रखने का आदेश दिया. इसके साथ ही शीर्ष अदालत ने पेड़ों की कटाई पर रोक लगा दी.
Breaking – Aarey Case : SC Stays Further Cutting Of Trees For Mumbai Metro Car Shed https://t.co/HGR3Lr6BHQ
— Live Law (@LiveLawIndia) October 7, 2019
महाराष्ट्र सरकार की ओर से पेश हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि अब और पेड़ नहीं काटे जाएंगे और दशहरा की छुट्टी के बाद पर्यावरण की बेंच द्वारा पहले से तय किए गए पेड़ों की कटाई की वैधता तय की जा सकती है.
Supreme Court asks that activists who were arrested should be released. 'In case those are still not released shall be released immediately,' assures Solicitor General Tushar Mehta. SC also asks to include Union Environment ministry a party. Next hearing on October 21. https://t.co/jOBQmtjWeg
— ANI (@ANI) October 7, 2019
कोर्ट ने पेड़ काटने के विरोध में हिरासत में लिए गए सभी पर्यावरण कार्यकर्ताओं की रिहाई का भी निर्देश दिया है. मामले की अगली सुनवाई 21 अक्टूबर को होगी.
#Breaking: Supreme Court orders status quo in Aarey, no further felling of trees for nowhttps://t.co/zUofQZpdi7
— Bar and Bench (@barandbench) October 7, 2019
जस्टिस अरुण मिश्रा और अशोक भूषण की दो-जजों की बेंच का गठन तब हुआ जब कानून के छात्रों के एक समूह ने चीफ जस्टिस रंजन गोगोई को पत्र लिखकर आरे कॉलोनी में पेड़ों की कटाई को रोकने के लिए शीर्ष अदालत के तत्काल हस्तक्षेप की मांग की.
शुक्रवार को बॉम्बे हाई कोर्ट की एक खंडपीठ ने मुख्य न्यायाधीश प्रदीप नंदराजोग और न्यायमूर्ति भारती डांगरे की खंडपीठ ने गोरेगांव में आरे कॉलोनी में पेड़ों की कटाई को चुनौती देने वाली एनजीओ और पर्यावरण कार्यकर्ताओं द्वारा दायर पांच याचिकाओं को खारिज कर दिया था.
Aarey-forest-Tree-felling-Oct-7