भाजपा सांसद वरुण गांधी ने एक बार फिर सरकार पर निशाना साधा है। लखीमपुर खीरी जिले के तिकुनिया में 3 अक्टूबर को हुई हिंसक घटना के बाद से उत्तर प्रदेश के पीलीभीत से लोकसभा सांसद वरुण गांधी अपनी ही पार्टी की सरकार को इस मुद्दे पर लगातार घेरते दिख रहे हैं। वरुण गाँधी ने लगातार किसानों के समर्थन में ट्वीट किए हैं। उन्होंने इस संबंध में योगी सरकार को पत्र भी लिखा था और पीड़ित परिवारों को न्याय दिलाने और दोषियों को सज़ा देने की मांग की थी। जिसके बाद भारतीय जनता पार्टी ने अपनी राष्ट्रीय कार्यकारिणी से मेनका गांधी और वरुण गांधी को बाहर कर दिया। आज फिर से वरुण गांधी ने ट्वीट कर बीजेपी सरकार को घेरा है।
घावों को फिर से कुरेदना खतरनाक, राष्ट्रीय एकता से ऊपर राजनीतिक लाभ नहीं: वरूण
रविवार को भाजपा सांसद वरुण गांधी ने लखीमपुर हिंसा को लेकर योगी सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने ट्वीट कर कहा, “लखीमपुर खीरी को हिंदू बनाम सिख लड़ाई में बदलने की कोशिश की जा रही है। यह न केवल एक अनैतिक और झूठा आख्यान है बल्कि, उन घावों को फिर से कुरेदना खतरनाक है जिन्हें ठीक होने में कई पीढ़ियां लगी हैं। हमें राष्ट्रीय एकता से ऊपर राजनीतिक लाभ नहीं रखना चाहिए।”
An attempt to turn #LakhimpurKheri into a Hindu vs Sikh battle is being made. Not only is this an immoral & false narrative, it is dangerous to create these fault-lines & reopen wounds that have taken a generation to heal.We must not put petty political gains above national unity
— Varun Gandhi (@varungandhi80) October 10, 2021
वरुण गांधी को लेकर बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा था सब कुछ ठीक…
इंडिया टुडे कॉन्क्लेव में शुक्रवार को एक सवाल के जवाब में बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा कि उन्होंने वरुण गांधी को बुलाकर बात की थी। नड्डा ने यह भी कहा था कि अब इस मामले में सब ठीक हो जाएगा। लेकिन रविवार को यानी आज वरुण गांधी ने एक और ट्वीट किया, जिससे यह बात स्पष्ट होती है कि सब कुछ ठीक नहीं है।
इससे पहले भी उठाई थी आवाज़ जिसके बदले मिली ये सज़ा..
बता दें कि लखीमपुर हिंसा के बारे में आवाज़ वरुण ने पहली बार नहीं उठाई है। बल्कि हिंसा के बाद लगातार वह हिंसा के खिलाफ और किसानों के पक्ष में बोले हैं। वरुण ने एक वीडियो शेयर कर दोषियों को सज़ा दिलाने की मांग की थी। साथ ही इस मुद्दे पर योगी सरकार को पत्र भी लिखा था। लखीमपुर खीरी की हिंसक घटना के बाद किसानों के समर्थन में बोलने के बाद ही वरुण गांधी और उनकी मां मेनका गांधी को भारतीय जनता पार्टी ने अपनी उस कार्यकारिणी में जगह नहीं दी जिसे 2022 में होने वाले पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव से पहले नई राष्ट्रीय कार्यकारिणी घोषित किया गया है।
गांधी ने इससे पहले गन्ने के मुद्दे पर सीएम योगी को चिट्ठी लिखी थी। जिसमे गन्ने के मूल्य को 25 रुपये प्रति क्विंटल से बढ़ाकर 400 रुपये प्रति क्विंटल करने की मांग की थी। दरअसल, हाल ही में सरकार ने गन्ने के मूल्य में 25 रुपये प्रति क्विंटल की वृद्धि की जिसके लिए यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ को धन्यवाद करते हुए भाजपा सांसद वरुण गांधी ने यह मांग की थी और कहा था की खाद, बीज, पानी और बिजली की बढ़ी कीमतों के कारण यह मूल्य वृद्धि अपर्याप्त है।