कुरुक्षेत्र के मैदान में हुआ भारत 18 दिन में ख़त्म हो गया था, लेकिन 21वीं सदी के भारतीय किसान सत्ता की महाभारत नहीं लड़ रहे हैं, भविष्य का भारत रच रहे हैं। आंदोलन के 19वें दिन घोषणा के मुताबिक आज किसान संगठनों की ओर से जिला मुख्यालयों पर प्रदर्शन शुरू हो गया है। इसके अलावा दिल्ली की कई सरहदों पर किसानों का जमावड़ा बढ़ता ज रहा है। किसान नेताओं के साथ देश तमाम किसान और सामाजिक कार्यकर्ता आज एक दिन का अनशन कर रहे हैं। क़ानून मंत्री रविशंकर प्रसाद की ओर से आये आंदोलन में टुकड़े-टुकड़े गैंग की सक्रियता के बयान ने किसानों का ग़ुस्सा बढ़ा दिया है।
किसान आंदोलन के तहत 14 दिसंबर को जिलामुख्यालयों पर प्रदर्शन के अलावा आसपास के राज्यों से किसानों के जत्थों के दिल्ली पहुँचने की अपील की गयी थी। उसका असर नज़र आने लगा है। राजस्थान से लेकर उत्तराखंड तक के किसानों के जत्थे दिल्ली जाने वाले रास्ते पर जमा हो गये हैं। उन्हें ठंड की परवाह भी नहीं है। हरियाणा के किसान पहले ही बार्डर पर डटे हैं। हर घर से एक किसान के आंदोलन में शामिल होने का आह्वान रंग ला रहा है। किसानों को रोकने की पुलिस की कोशिशों से ग़ुस्सा भड़क रहा है।
कृषि कानूनों के खिलाफ जयसिंहपुर खेड़ा बॉर्डर(राजस्थान-हरियाणा) पर किसानों का विरोध प्रदर्शन जारी है। एक प्रदर्शनकारी ने कहा, “हम दिल्ली जा रहे थे हमें हरियाणा पुलिस ने रोका, किसान संगठन जब बुलाएंगे तो हम नाकों को तोड़ कर दिल्ली बॉर्डर पर जाएंगे। 500 ट्रैक्टर-ट्राली आ रहे हैं।” pic.twitter.com/V2bKIERQng
— ANI_HindiNews (@AHindinews) December 14, 2020
किसान नेताओं ने आज एक दिन के अनशन का ऐलान किया था। सरकार से बातचीत में शामिल सभी किसान नेता अनशन पर बैठ गये हैं। उधर, उनके समर्थन में बड़ी तादाद में किसान और सामाजिक कार्यकर्ता भी अनशन कर रहे हैं। किसानों ने साफ कर दिया है कि वे कृषि कानूनों को रद्द कराये बग़ैर क़दम वापस नहीं खीचेंगे।
उधर, सरकार ने आंदोलन में फूट डालने की कोशिश तेज़ कर दी है। कल ख़बर आयी थी कि भारती किसान यूनियन के भानु गुट का सरकार से समझौता हो गया है, लेकिन किसानों की संयुक्त संघर्ष समिति ने साफ़ कर दिया कि यह गुट शुरु से आंदोलन में शामिल नहीं था। इसकी ओर से किया गया समझौता आंदोलन तोड़ने की साज़िश है। इसी के साथ किसानों पर सरकार और बीजेपी नेताओं की ओर से देशद्रोही बताने का खेल भी तेज़ हो गया है। पटना के बख्तियारपुर विधानसभा क्षेत्र में बीजेपी के किसान मोर्चा की ओर से कृषि क़ानूनों का लाभ बताने के लिए आयोजित एक कार्यक्रम में क़ानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने किसानों के अड़े रहने के पीछे टुकड़े-टुकड़े गैंग है जिनसे सरकार सख्ती से निपटेगी।
क़ानून मंत्री के इस बयान से किसान और भड़क गये हैं। उन्होंने कहा है कि सरकार की सभी साज़िशों को किसान इस बार फ़ेल करके रहेंगे।
विपक्षी दल भी पूरी तरह आंदोलन के समर्थन में उतर चुकी हैं। कांग्रेस तो पहले से ही आंदोलन के साथ है। उसके कई सांसद और नेता आज अनशन पर है। वहीं दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने भी आज अनशन करने की घोषणा की है। साथ ही आम आदमी पार्टी के नेताओं से भी उन्होंने अनशन करने की अपील की है।