संसद के पिछले मानसून सत्र के दौरान हुए हंगामे के चलते विपक्ष के 12 सांसदों को संसद के पूरे शीतकालीन सत्र के लिए निलंबित कर दिया गया है। इसको लेकर अब विपक्ष में नाराजगी है। इसे लेकर 30 नवंबर को विपक्षी दलों ने संसद में बैठक बुलाई गई थी। इस मौके पर कांग्रेस सांसद राहुल गांधी मौजूद रहे। ये बैठक राज्यसभा सांसद मल्लिकार्जुन खड़गे के संसद कार्यालय में बुलाई गई थी, जिसमें 16 दलों ने भाग लिया। बैठक के बाद, कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों के सांसदों ने राज्यसभा के सभापति वेंकैया नायडू से 12 सांसदों के निलंबन को रद्द करने का अनुरोध किया, लेकिन वेंकैया नायडू ने विपक्ष के 12 सांसदों की अपील को खारिज कर दिया है। जानकारी के अनुसार, नायडू ने विपक्ष को साफ कर दिया कि सांसद अगर माफी नहीं मांगेंगे तो उनका निलंबन जारी रहेगा।
निलंबित सांसदों ने अफसोस नहीं जताया..
निलंबन वापस लेने से इंकार करते हुए नायडू ने कहा कि अध्यक्ष को कार्रवाई करने का अधिकार है और वह कार्रवाई कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि पिछले सीजन का कड़वा अनुभव हमें आज भी याद है। निलंबित सांसदों ने अफसोस नहीं जताया है। मैं विपक्ष के नेता (मल्लिकार्जन खडगे) की अपील पर विचार नहीं कर रहा हूं निलंबन वापस नहीं लिया जाएगा। वहीं, मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि सांसदों के खिलाफ कई कार्रवाइयों का मामला पिछले सत्र का है तो अब इस पर फैसला कैसे लिया जा सकता है।
गांधी प्रतिमा के पास विपक्षी सांसदों का प्रदर्शन..
इस फैसले के बाद विपक्षी सांसदों ने लोकसभा और राज्यसभा से वाकआउट किया और फिर 12 सांसदों के राज्यसभा से निलंबित किए जाने के फैसले के खिलाफ संसद परिसर में स्थित गांधी प्रतिमा के पास खड़े होकर प्रदर्शन किया। आपको बता दें कि निलंबन वापसी के लिए सांसदों की ओर से माफी मांगे जाने को लेकर अटकलें चल रही हैं। सांसद माफी मांगने को तैयार नहीं है। इसी संबंध में राहुल गांधी ने ट्वीट करते हुए लिखा, “किस बात की माफ़ी? संसद में जनता की बात उठाने की? बिलकुल नहीं!”
मल्लिकार्जुन खड़गे निलंबन पर वेंकैया नायडू को लिखेंगे चिट्ठी..
कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे राज्यसभा सभापति वेंकैया नायडू को निलंबन के मुद्दे पर चिट्ठी लिखेंगे। हालांकि, खड़गे कह चुके हैं कि निलंबित सांसदों ने कोई गलती नहीं की थी, इसलिए वे माफी भी नहीं मांगेंगे। वहीं, नायडू भी बिना माफी के किसी सांसद का निलंबन माफ करने को तैयार नहीं हैं।