कल यानि 29 जुलाई को केंद्रीय सरकार ने नई शिक्षा नीति की घोषणा की है. इसके पूर्व 1986 में राजीव गाँधी सरकार ने इस विभाग में एक बदलाव किया था, जिसमे दिखने लायक…
सरकारी प्रबंधन एक जटिल काम है। इस काम को आम जनता समग्रता में नहीं देख पाती। प्रशासनिक निर्देश की अलग अलग ख़बरों से पता नहीं चलता कि किस तरह से तैयारी की…
दिल्ली यूनिवर्सिटी में अंग्रेजी के अध्यापक हैनी बाबू मुसलीयारवेटिल थारायिल (हैनी बाबू, 54 वर्ष) को नेशनल इन्विस्टिगेशन एजेंसी (एनआईए) ने गिरफ्तार कर लिया है। एनआईए ने कहा है कि उन्हें भी भीमा-कोरेगांव…
डोनाल्ड ट्रंप अमेरिका के राष्ट्रपति के नवम्बर 2020 में निर्धारित चुनाव की तरह 2016 में पिछली बार के भी चुनाव में अनुदारवादियों की रिपब्लिकन पार्टी के प्रत्याशी थे. उनका मुकाबला निवर्तमान राष्ट्रपति बराक…
रवीश कुमार बोली लगेगी 23 सरकारी कंपनियों की, निजीकरण का ज़बरदस्त स्वागत! निजीकरण का स्कूली नाम विनिवेश है। विनिवेश बेचने जैसा ग़ैर ज़िम्मेदार शब्द नहीं है। ख़ुद को काम करने वाली सरकार…
[कवि तुलसीदास का जन्म श्रावण शुक्ल सप्तमी के दिन हुआ था. इस वर्ष यह तिथि ग्रेगोरियन कैलेंडर में 27 जुलाई है. उनके जन्मदिन पर, इस लेख के द्वारा उन्हें याद करने की मैं…
राजस्थान के राज्यपाल कलराज मिश्र के संवैधानिक आचरण को लेकर तमाम सवाल उठ रहे हैं। जिस तरह उन्होंने मंत्रिपरिषद की विधानसभा सत्र बुलाने की दोबारा मिली अनुशंसा की फाइल भी लौटा दी है,…
“ सफलता महत्वाकांक्षा को जन्म देती है, और हमारी हाल ही की उपलब्धियां और नए दुःसाहसिक लक्ष्यों को हासिल करने के लिए अब मानवजाति को उकसा रही हैं। सम्पन्नता,…
देश की राजनीति में आरक्षण काफी असरदार मुद्दा है। यही वजह है कि प्रधानमंत्री मोदी ताल ठोंककर कहते रहे हैं कि कोई माई का लाल आरक्षण हटा नहीं सकता। लेकिन इस घोषणा के…
दो मंदिरों की कहानी अयोध्या का राम मंदिर और तिरुअनंतपुरम का पद्मनाभस्वामी मंदिर अलग-अलग कारणों से पिछले हप्ते समाचारों की सुर्ख़ियों में रहे हैं. यह भारत में ही संभव है कि महामारी के…
ब्रजेन्द्र प्रताप सिंह इलाहाबाद हाईकोर्ट ने आपराधिक छवि वाले पूर्व मंत्री रघुराज प्रताप सिंह उर्फ राजा भैया के मुकदमे हटाए जाने पर सवाल किया है। योगी आदित्यनाथ की सरकार से पूछा है…
परिदृश्य : 01 अमेरिका के 16 वें राष्ट्रपति रहे अब्राहम लिंकन (1809 -1865 ) के पिता जूते बनाते थे.वे जब राष्ट्रपति चुन लिये गये तो अमेरिका के अभिजात्यवर्ग को जबरदस्त ठेस लगी। वो…
अशोक उपाध्याय मुझे मालूम नहीं है कि जब बकरा कटता है तो वह कुछ विरोध करता है या नहीं करता. मगर मुझे यह मालूम है स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर भारत के नागरिक…
इस कठिन कठोर कोरोना काल में संजय जोशी दुनिया की बेहतरीन फ़िल्मों से आपका परिचय करवा रहे हैं. उनका यह पाक्षिक स्तम्भ सोमवार को प्रकाशित होता है। अब तक प्रकाशित कड़ियाँ आपको लेख के आख़िर…
डा. आंबेडकर का मिशन ‘राजकीय समाजवाद’ था. मायावती जी के भक्त, जिन्होंने डा. आंबेडकर के साहित्य का कखग भी नहीं पढ़ा है, अगर चाहें तो उनकी एक किताब “राज्य और अल्पसंख्यक” जरूर पढ़…
पुष्परंजन अयोध्या में दोबारा से भूमिपूजन? यह काम राजीव गांधी सरकार के समय हो चुका था मोदी जी! तारीख 9 नवंबर 1989, इस दिन अयोध्या में राममंदिर के वास्ते भूमिपूजन और शिलान्यास दोनों…
स्वामी अछूतानंद ‘हरिहर’ का आदि-हिंदू आंदोलन बीसवीं शताब्दी के शुरुआती दशकों में हिंदी पट्टी में एक नयी बेचैनी लेकर आया था। स्वामी अछूतानंद के इस आंदोलन की अवधारण का पहला भाग आप 14…
दुनिया के कई मशहूर और हाई-प्रोफाइल हस्तियों का ट्विटर अकाउंट बुधवार को इस कदर हैक कर लिया गया कि हर जगह तहलका मच गया। अमरीका के पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा, पूर्व उपराष्ट्रपति जो…
कोविड 19 ने जहाँ पूरी दुनिया में कहर बरपा कर रखा है वहीं कई देशों के शासक इस महामारी के बहाने अपने-अपने संकीर्ण लक्ष्य साधने में लगे हैं. कई देशों में अलग-अलग…
कुछ दिन पहले एक लेख में रूसी विद्वान प्रोफ़ेसर सर्गेई कारागानोव ने कहा है कि पश्चिम के लोकतांत्रिक देशों को यह पता नहीं है कि बिना शत्रु के कैसे रहा जा सकता है.…
प्रताप भानु मेहता विकास दुबे की मुठभेड़ में मौत और बाद का घटनाचक्र उत्तर प्रदेश में शासन-प्रशासन के मौजूदा हाल, ख़ासतौर पर ‘पुलिस सुधार’ पर रोशनी डालता है। आदित्यनाथ का राजनीतिक निपटान अनूठा…
बीजेपी के दिग्गज राजनाथ सिंह के सामने हैदरगढ़ से कांग्रेस प्रत्याशी बतौर विधानसभा चुनाव लड़ चुके विश्वनाथ चतुर्वेदी उर्फ ‘मोहन’ ज्योतिरादित्य सिंधिया और सचिन पायलट जैसे नेताओं को ‘मृतकाश्रित’ कोटे का कांग्रेसी मानते…
दुनिया के सभी तानाशाह हुक्मरान सत्ता पर अपनी पकड़ बनाए रखने के लिये कोरोना महामारी का बेजा इस्तेमाल कर रहे है. हम मीडिया विजिल के चुनाव चर्चा कॉलम के 8 जुलाई के पिछले…
भदन्त बोधनन्द की नौरत्न कमेटी में स्वामी अछूतानन्द ‘हरिहर’ एकमात्रा दलित जाति (चमार) सदस्य थे, जो उस समय आदि-हिन्दू आन्दोलन के प्रवर्तक और दलित समाज के महान नायक, कवि और सम्पादक थे।…