पश्चिम बंगाल के वित्त मंत्री अमित मित्रा ने केंद्र की मोदी सरकार पर गंभीर आरोप लगाया है। अमित का कहना है कि पिछले 6 साल में डर के माहौल के चलते बड़े उद्योगपति देश छोड़कर चले गए हैं। उन्होंने पीएम मोदी से इस मामले पर संसद में श्वेत पत्र जारी करने की मांग की है।
अमित मित्रा ने कहा कि 2014 से 2020 तक के छह वर्षों के दौरान करीब 35 हज़ार व्यवसायी देश छोड़कर जा चुके हैं। ऐसा मालूम होता है कि कारोबारी डर के माहौल के कारण देश छोड़ रहे हैं।
भारत दुनिया में पलायन में नंबर 1 स्थान पर: अमित मित्रा
मित्रा ने गुरुवार को इस संबंध में कई ट्वीट किए। उन्होंने ट्वीट कर कहा कि देश छोड़ कर जाने वाले ये सभी कारोबारी हाई नेटवर्थ इंडिविजुअल यानी अमीर लोग हैं और ये अब प्रवासी भारतीय बन गए हैं। उन्होंने सवाल किया कि भारत दुनिया में पलायन में नंबर 1 स्थान पर है। क्यों? ‘डर का माहौल’?’ प्रधानमंत्री को अपने शासन के दौरान भारतीय उद्यमियों की भारी पलायन पर संसद में श्वेत पत्र प्रस्तुत करना चाहिए।
Under Modi Govt 35,000 Indian Entrepreneurs of High Net Worth LEFT India between 2014-2020, as NRI/Immigrants. India RANKED No 1 IN EXODUS IN THE WORLD. 😭. WHY? ‘Fear psychosis’?? PM must place WHITE PAPER to Parliament on massive flight of Indian entrepreneurs during his Regime
— Dr Amit Mitra (@DrAmitMitra) October 21, 2021
मित्रा ने दूसरा ट्वीट करते हुए लिखा, मॉर्गन स्टेनली की एक रिपोर्ट के अनुसार, साल 2014 से 2018 के बीच करीब 23,000 हाई नेटवर्थ उद्यमियों ने भारत छोड़ दिया है। यह दुनिया में सबसे बदतर स्थिति है। इसी तरह ग्लोबल वेल्थ माइग्रेशन (GWM) रिपोर्ट के अनुसार साल 2019 में 7,000 और साल 2020 में 5,000 कारोबारियों ने भारत छोड़ दिया है।
Recall 19 minutes of TIRADE against Indian business by Piyush Goel, reportedly saying business practices of INDIAN INDUSTRY WENT AGAINST NATIONAL INTEREST – short of calling them ANTI-NATIONAL. Breeds ‘fear psychosis’, motivating EXODUS ? But,PM did not rebuke Goel. Why?
— Dr Amit Mitra (@DrAmitMitra) October 21, 2021
भारतीय उद्योग जगत के खिलाफ 19 मिनट के तीखे हमले को याद करें..
प. बंगाल के वित्त मंत्री अमित मित्रा ने अपने तीसरा ट्वीट में वाणिज्य मंत्री के इस साल के अगस्त में सीआईआई के एक इवेंट में दिए गए बयान की आलोचना करते हुए लिखा, पीयूष गोयल द्वारा भारतीय व्यापार के खिलाफ 19 मिनट के तीखे हमले को याद करें, जिसमें कथित तौर पर कहा गया था कि भारतीय उद्योग की व्यावसायिक प्रथाओं ने राष्ट्रीय हितों के खिलाफ काम किया, यानी एक तरह से गोयल अपने विषवमन में भारतीय कारोबार जगत के दस्तूर को राष्ट्र विरोधी बता रहे हैं ऐसे डर के माहौल से ही पलायन बढ़ता है। लेकिन, पीएम ने गोयल को फटकार नहीं लगाई। क्यों?