गाेरेगांव स्थित आरे काॅलाेनी में मेट्राे कार शेड के लिए करीब 2700 पेड़ काटने का काम शुक्रवार देर रात शुरू हो गया. पर्यावरण कार्यकर्ताओं के साथ आमजन भी इसका विरोध कर रहे हैं.मुंबई पुलिस पीआरओ ने शनिवार को बताया कि मेट्रो-रेल प्रोजेक्ट साइट पर धारा 144 लागू कर दी गई है. इस इलाके में विरोध प्रदर्शन दर्ज करवाने के लिए लोग भारी संख्या में इकट्ठा हो रहे थे.
Mumbai: An activist was seen hugging a tree at the entry into #AareyForest from Marol Maroshi Road where Section 144 has been imposed. #Maharashtra pic.twitter.com/7cKJmIO3Rx
— ANI (@ANI) October 5, 2019
शिवसेना नेता आदित्य ठाकरे ने कहा कि मेट्रो रेल प्रोजेक्ट के अधिकारियों को पीओके भेजा जाना चाहिए ताकि वे पेड़ काटने के बजाए वहां आतंकी ठिकानों को नष्ट कर सकें. शिवसेना नेता प्रियंका चतुर्वेदी सहित 29 लोगों को हिरासत में लिया गया है.
Mumbai Police PRO: Prohibitory orders under Section 144 of CrPC imposed in the area near the metro-rail project site in #AareyForest. A protest was held last night at #AareyForest against the felling of trees, after the Bombay High Court order. pic.twitter.com/iXCFZUozIc
— ANI (@ANI) October 5, 2019
गिरफ्तार 29 प्रदर्शनकारियों को बोरीवली कोर्ट ने न्यायिक हिरासत में भेज दिया है.
Mumbai's #AareyForest matter: 29 protesters arrested from Aarey and have been sent to judicial custody by Borivali Court.
— ANI (@ANI) October 5, 2019
आरे में पेड़ों की कटाई ने शिवसेना को राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) का नेतृत्व कर रही भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के खिलाफ मोर्चा खोलने का मौका दे दिया है.
इस दौरान उद्धव ठाकरे ने पेड़ों को काटने पर गहरी नाराजगी जताई है. उन्होंने कहा है कि आरे में पेड़ों को काटने का मुद्दा बेहद गंभीर है. महाराष्ट्र के चुनावी माहौल के बीच उद्धव ठाकरे ने कहा कि जिन लोगों ने पेड़ों का खून किया है उन्हें देख लेंगे.
Shiv Sena Chief, Uddhav Thackeray: The upcoming government will be our government and once our government comes into power once again, we will deal with the murderers of #AareyForest in the best possible way we can. https://t.co/weNHtCbhUy pic.twitter.com/o0ePTCBi8V
— ANI (@ANI) October 5, 2019
The BJP and the Shiv Sena – alliance partners at both the centre and the state of Maharashtra – seem to have locked horns over the proposed metro shed in Aarey forest area
Read more @ANI story | https://t.co/zoy16dbP6O pic.twitter.com/FxGi2gzYkr
— ANI Digital (@ani_digital) October 5, 2019
पर्यावरणविदों ने इसे सीएम देवेंद्र फडणवीस की कायरतापूर्ण कार्रवाई करार दिया है.
#WATCH: Felling of trees underway at Mumbai's #AareyForest. #Maharashtra pic.twitter.com/h00VIGPUIi
— ANI (@ANI) October 5, 2019
लोग यहां पेड़ों को बचाने के लिए हर संभव प्रयास कर रहे हैं लेकिन फडणवीस सरकार की नजर में ये जंगल खटक रहे हैं और हर कीमत पर इन्हें कटवाने पर जोर आजमाइश कर रही है.
Mumbai: People gathered in protest at #AareyForest against the felling of trees there,earlier tonight. They were later removed from spot by police. Bombay HC has dismissed all petitions against BMC decision which allowed felling of more than 2700 trees there, for metro car shed. pic.twitter.com/6uoAeW4Cdw
— ANI (@ANI) October 4, 2019
गौरतलब है कि बीएमसी ने 29 अगस्त काे इसकी इजाजत दी थी. इसके विरोध में एनजीओ ने कोर्ट में याचिका दायर कर काॅलाेनी काे वन एवं संवेदनशील क्षेत्र घाेषित करने की मांग उठाई थी.
बॉम्बे हाईकोर्ट ने शुक्रवार को ही आरे काॅलाेनी से जुड़ी एनजीओ और पर्यावरण कार्यकर्ताओं की चार याचिकाएं खारिज कर दी. इसके बाद प्रशासन ने रात में चुपके से पेड़ काटने का प्लान बना डाला और आरे में आरी चलाना शुरू कर दिया.
Maharashtra: Bombay High Court has dismissed all petitions against BMC decision which allowed felling of more than 2700 trees in Mumbai's Aarey forest for metro car shed. pic.twitter.com/doCrwddxKQ
— ANI (@ANI) October 4, 2019
चीफ जस्टिस प्रदीप नंदराजोग और जस्टिस भारती डांगरे की पीठ ने गोरेगांव की आरे कॉलोनी से जुड़ी याचिकाओं को खारिज किया. गोरेगांव मुंबई का प्रमुख हरित क्षेत्र है.
Union Minister of Environment Prakash Javadekar on #AareyForest: Bombay HC has ruled that it's not a forest. When the first Delhi metro station was to be constructed, 20-25 trees were to be cut, people had protested then too, but for each tree cut, five trees were planted. pic.twitter.com/pCAUuBFmAb
— ANI (@ANI) October 5, 2019
वहीं कोर्ट ने कहा कि यह मामला सुप्रीम कोर्ट और राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) में लंबित है. इसलिए याचिका को एक जैसा मामला होने के कारण खारिज कर रहे हैं. कोर्ट ने स्पष्ट किया कि इसे गुण-दोष के आधार पर खारिज नहीं किया जा रहा है.
Activist and citizens still trying to save the trees in #AareyForest #Aarey pic.twitter.com/CyBU5y29mY
— Mumbai Live (@MumbaiLiveNews) October 4, 2019
वरिष्ठ पत्रकार व सामाजिक कार्यकर्ता तीस्ता सीतलवाड़ ने ट्वीट किया है, “हिंदू धर्म सिखाता है की सूर्य के ढलने के बाद एक भी पत्ता पेड़ से नहीं काटा जा सकता! यहां कलयुग में सारे झाड़ के झाड काटे जा रहे हैं: शर्मनाक!”
हिंदू धर्म सिखाता है की सूर्य के ढलने के बाद एक भी पत्ता पेड़ से नहीं काँटा जा सकता! यहां कलयुग में सारे झाड़ के झाड काँटे जा रहे हैं :शर्मनाक! #Aarey #FridayFeeling #FridayThoughts @sabrangindia @amrita_02 @PreetiSMenon @RahulGandhi @SitaramYechury @alterlaw @ArvindKejriwal pic.twitter.com/5nbl3TDBXQ
— Teesta Setalvad (@TeestaSetalvad) October 4, 2019
सोशल मुद्दों पर काफी ऐक्टिव रहने वाले ऐक्टर फरहान अख्तर ने ट्वीट किया, ‘रात में पेड़ों को काटना एक गलत प्रयास है। ऐसा करने वाले भी जानते हैं कि वे गलत कर रहे हैं.’
Cutting trees at night is a pathetic attempt at trying to get away with something even those doing it know is wrong. #Aarey #GreenIsGold #Mumbai
— Farhan Akhtar (@FarOutAkhtar) October 5, 2019
स्वरा भास्कर ने लिखा, ‘और यह शुरू हो गया! आरे फॉरेस्ट आरे कॉलोनी नष्ट हो रही है.’
And it’s begun! #AareyForest #AareyColony being destroyed https://t.co/TvGbpQi3W8
— Swara Bhasker (@ReallySwara) October 4, 2019