जामिया की लाइब्रेरी में बैठे छात्रों पर लाठीचार्ज का वीडियो वायरल, पुलिस ने कहा-जांच करेंगे!

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जामिया को-ऑर्डिनेशन कमेटी ने 15 दिसंबर की शाम जामिया मिलिया यूनिवर्सिटी की लाइब्रेरी में पढ़ रहे स्‍टूडेंट्स पर लाठीचार्ज का वीडियो जारी किया है. जामिया कॉर्डिनेशन कमेटी की ओर से रिलीज किए गए इस वीडियो को यूनिवर्सिटी की लाइब्रेरी का बताया जा रहा है. करीब 49 सेकंड की इस क्लिप में दिल्ली पुलिस के जवान लाइब्रेरी में बैठे बच्चों पर लाठीचार्ज करते दिख रहे हैं. 

https://twitter.com/Jamia_JCC/status/1228772837583753216

जामिया यूनिवर्सिटी की लाइब्रेरी में लाठीचार्ज पर दिल्ली पुलिस ने कहा कि वे इसकी जांच कर रही है. वीडियो सामने आने के बाद स्पेशल कमिश्नर (क्राइम) प्रवीर रंजन ने कहा- हमने जामिया मिलिया यूनिवर्सिटी (लाइब्रेरी) के ताजा वीडियो को संज्ञान में लिया है, जो अभी वायरल हो रहा है, हम इसकी जांच करेंगे.

वीडियो में साफ नजर आ रहा है कि ओल्‍ड रीडिंग हॉल में कुछ स्‍टूडेंट्स बैठे हुए पढ़ाई कर रहे हैं. एक स्‍टूडेंट पुलिस को देखकर टेबल के नीचे छुप जाता है. एक स्‍टूडेंट पुलिस से बचने के लिए इधर-उधर भगता हुआ दिख रहा है. जामिया को-ऑर्डिनेशन कमेटी ने वीडियो जारी करने के साथ ही पुलिस के खिलाफ कार्रवाई की मांग भी की है.

जामिया यूनिवर्सिटी में 15 दिसंबर को नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ प्रदर्शन के दौरान हिंसा का बहाना बना कर पुलिस ने यूनिवर्सिटी परिसर में घुसकर छात्रों पर बर्बरता से लाठीचार्ज किया था जिसमें कई छात्र गंभीर रूप से घायल हो गये थे. बाद में प्रदर्शन कर रहे छात्रों के खिलाफ जामिया परिसर में कथित तौर पर पुलिस कार्रवाई से विवाद खड़ा हो गया था. यूनिवर्सिटी के चीफ प्रॉक्‍टर वसीम अहमद खान ने कहा था कि पुलिस विश्वविद्यालय प्रशासन की बिना अनुमति के ही परिसर में घुसी. फिर छात्रों को पीटा गया और उन्हें कैंपस से बाहर निकाला गया.

बता दें कि, पुलिस ने लाइब्रेरी और बाथरूम में घुसकर तोड़फोड़ और लाठीचार्ज कर छात्रों को बाहर निकाला था.पुलिस का कहना था कि कुछ उपद्रवी कैम्पस में दाखिल हो गए थे, जिनके पीछे पुलिस गई.

बता दें कि, जामिया की वाइस चांसलर नजमा अख्तर ने घटना के बाद कहा था कि पुलिस बिना इजाजत कैम्पस में घुसी और मासूम छात्रों को पीटा। हमारी एफआईआर भी दर्ज नहीं की गई. जरूरत पड़ी तो हम इस मामले में हाईकोर्ट जाएंगे. कुलपति के इस जवाब पर छात्रों ने नारेबाजी की और कहा था कि हमें आपकी बात पर भरोसा नहीं है.


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