पश्चिम बंगाल बीजेपी अध्यक्ष दिलीप घोष पर एक महिला ने बदसलूकी का आरोप लगाया है. गुरुवार को एक महिला के आरोपों के बाद दिलीप घोष पर आइपीसी की धारा 354ए, 509, 506, 34 के तहत पतुली पुलिस स्टेशन में एफआईआर दर्ज की गई है.
West Bengal: FIR registered against BJP leader Dilip Ghosh under sections 354A, 509, 506, 34 of the Indian Penal Code in Patuli Police Station by a woman alleging that she was heckled yesterday in Ghosh's rally. (file pic) pic.twitter.com/gF5av7MgD3
— ANI (@ANI) January 31, 2020
इससे पहले संशोधित नागरिकता कानून (CAA) के समर्थन में आयोजित रैली के दौरान पार्टी कार्यकर्ताओं द्वारा एक महिला प्रदर्शनकारी से बदसलूकी किए जाने पर घोष ने कहा, ‘उन्हें अपनी किस्मत का शुक्रगुजार होना चाहिए कि कुछ और नहीं हुआ.’ घोष ने महिला के साथ धक्का मुक्की को न्यायोचित करार दिया. उन्होंने कहा, ‘हमारे आदमियों ने सही किया.
West Bengal BJP chief Dilip Ghosh says lone woman carrying anti-CAA poster at pro-CAA rally in Kolkata who was heckled by the party's cadres should 'thank her stars that nothing else was done to her'
— Press Trust of India (@PTI_News) January 30, 2020
भारतीय जनता पार्टी की ओर से पश्चिम बंगाल में नागरिकता संशोधन कानून के समर्थन में एक रैली का आयोजन किया गया था. समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, इसका नेतृत्व खुद भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष दिलीप घोष कर रहे थे. दक्षिण कोलकाता के पतुली से बाग जतीन के बीच रैली का आयोजन किया गया था. जब रैली इन इलाकों से गुजर रही थी, तभी एक अकेली महिला नागरिकता कानून और गुरुवार को जामिया में चली गोली के खिलाफ तख्ती लेकर प्रदर्शन कर रही थी.
FIR lodged against West Bengal BJP president Dilip Ghosh for alleged derogatory remarks against woman anti-CAA protester: Police
— Press Trust of India (@PTI_News) January 31, 2020
भाजपा कार्यकर्ताओं ने उस अकेली महिला के साथ बदसलूकी की. उन्होंने उसकी तख्ती छीन ली और उसके साथ गालीगलौच किया. आरोप है कि कार्यकर्ताओं ने महिला के साथ धक्कमुक्की भी की. बाद में पुलिस ने महिला को छुड़ाया.
इस घटना के बाद दिलीप घोष ने कहा, ‘हमारे लोगों ने महिला के साथ जो कुछ किया, वह सही है.
दिलीप घोष ने तीन दिन पहले कहा था कि दिल्ली के शाहीन बाग में कड़ाके की ठंड के बीच खुले आसमान के नीचे सीएए और एनआरसी के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने वालों में से कोई भी बीमार क्यों नहीं पड़ा है या किसी की मौत क्यों नहीं हुई है.
नागरिकता कानून पर दिलीप घोष इससे पहले भी कई विवादित बयान दे चुके हैं. उन्होंने हाल ही में कहा था कि असम, कर्नाटक और उत्तर प्रदेश में जहां बीजेपी की सरकारें हैं वहां सीएए के खिलाफ प्रदर्शन करने वालों को कुत्ते की तरह गोली मारी है.