जामिया: छात्रों पर फिर हमला, छावनी में बदला कैम्पस, आज बंद का आह्वान

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जामिया मिलिया इस्लामिया यूनिवर्सिटी में मंगलवार शाम 5 बजे जमकर मारपीट और तोड़फोड़ हुई. छात्रों का आरोप है कि यूनिवर्सिटी प्रशासन के लोगों ने उनके साथ मारपीट की. 5 अक्टूबर को जामिया प्रशासन द्वारा छात्रों से मारपीट के बाद प्रशासन द्वारा 5 छात्रों को को कारण बताओ नोटिस दिए जाने के बाद 14 अक्टूबर से छात्र लगातार हड़ताल पर बैठे हैं.

22 अक्टूबर को जामिया के हज़ारों छात्रों ने वीसी ऑफिस तक पांच छात्रों को मिले कारण बताओ नोटिस के खिलाफ मार्च किया.छात्रों का आरोप है कि  शाम को वक़्त प्रशासन द्वारा बुलाये गये दर्जनों भाड़े के गुंडों ने विरोध कर रहे छात्रों पर बेरहमी से हमला कर दिया, मारा और ज़ख़्मी कर दिया. इसमें कई विद्यार्थियों को गम्भीर चोट आई है. इस पूरे हमले के दौरान जामिया गॉर्ड मूक दर्शक बने रहे.

इसके बाद रात के 03 बजे एडमिन की तरफ से वीसी के प्रमुख सलाहकार छात्रों से बात करने आए.

हर बार की तरह उन्होंने आश्वासन के अलावा देने के अलावा कुछ नहीं कहा.

जामिया के विद्यार्थियों के लिए यह अफसोस की बात है कि प्रमुख सलाहकार के साथ दिल्ली पुलिस भी छात्रों से बात करने आई थी. प्रमुख सलाहकार ज्यादातर चुप रहे और दिल्ली पुलिस छात्रों से बात करती रही.

जामिया एडमिन ने यूनिवर्सिटी को छावनी में तब्दील कर दिया है. गौरतलब है कि विद्यार्थियों ने 23 अक्टूबर को यूनिवर्सिटी बन्द का आह्वान किया है.

जबकि प्रशासन का कहना है कि अनुशासनहीनता पर 5 छात्रों को ‘कारण बताओ नोटिस’ दिया गया था, लेकिन जवाब देने के बजाए उन्होंने नोटिस की कॉपियों को जलाया और अनुशासन समिति का बहिष्कार भी किया. कल हड़ताल का 9वां दिन था.


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