नागरिकता संधोधन कानून (सीएए) के खिलाफ विरोध प्रदर्शनों के दौरान प्रदर्शनकारियों पर पुलिसिया दमन के खिलाफ कांग्रेस नेता राहुल, प्रियंका गांधी के साथ अन्य कांग्रेस नेताओं के एक प्रतिनिधिमंडल ने सोमवार को राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग पहुंचकर अधिकारियों से मुलाकात की और आयोग को उत्तर प्रदेश पुलिस की कथित ज्यादतियों से संबंधित विस्तृत रिपोर्ट सौंपी.
Delhi: Congress leaders Priyanka Gandhi Vadra and Rahul Gandhi arrive at National Human Rights Commission (NHRC) office to file a complaint 'against the action of Uttar Pradesh police on the protesters during demonstrations against #CitizenshipAmendmentAct'. pic.twitter.com/fc0Dx70g2E
— ANI (@ANI) January 27, 2020
रिपोर्ट में दावा किया गया है कि उत्तर प्रदेश पुलिस ने सीएए के खिलाफ प्रदर्शन करने वाले लोगों पर जुल्म ढाए. इस प्रतिनिधिमंडल में राहुल-प्रियंका के साथ यूपी कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू, यूपी कांग्रेस अल्पसंख्यक विभाग के अध्यक्ष शाहनवाज़ आलम, अभिषेक मनु सिंघवी, जितिन प्रसाद, पीएल पुनिया, राजीव शुक्ला और सलमान खुर्शीद मौजूद थे.
Shri @RahulGandhi, AICC GS Smt. @priyankagandhi & senior Congress leaders meet with members of the National Human Rights Commission of India. pic.twitter.com/wckEQsDawr
— Congress (@INCIndia) January 27, 2020
मानवाधिकार आयोग से मुलाकात के बाद अभिषेक सिंघवी ने बताया कि हमने पुलिस ज्यादती की विस्तार से रिपोर्ट दी है. 23 मौतें हुई हैं. इनमें से एक भी एफआईआर पुलिस वालों के खिलाफ नहीं हुई. आंख में छाती में गोलिया़ लगी हैं.
.@DrAMSinghvi addresses the media after the meeting of Congress leaders with members of the NHRC. pic.twitter.com/EoxUZdC2TQ
— Congress (@INCIndia) January 27, 2020
राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के साथ मीटिंग में राहुल और प्रियंका गांधी ने कहा लोकतंत्र में विरोध प्रदर्शन संवैधानिक अधिकार है. यूपी और अन्य राज्यों में पुलिस शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे लोगों पर ज्यादती कर रही है उन्हें गिरफ्तार कर रही है.
A delegation of Congress leaders presented the NHRC with evidence of the atrocities against the citizens of UP by the State Govt., which has gone to war against its own people. The NHRC must act decisively to protect the idea of India & the Constitutional rights of our citizens. pic.twitter.com/lR6wcOYjFv
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) January 27, 2020
आयोग को यह भी बताया गया कि प्रदेश में 23 व्यक्तियों के खिलाफ विरोध प्रदर्शनों को लेकर प्राथमिकी दर्ज की गयी है लेकिन एक भी पुलिसकर्मी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज नहीं हुई है.
लोगों को गोली लगी है और उन पर चोट के निशान हैं. यहां तक कि प्रशासन को दोषी पुलिसकर्मियों तथा अधिकारियों के नाम भी दिए गये, वीडियो भी है लेकिन प्राथमिकी किसी भी पुलिसकर्मी के विरुद्ध नहीं हुई है.
कांग्रेस नेता ने कहा कि प्रतिनिधि मंडल ने आयोग से इस मामले में आयोग से जल्द से जल्द ठोस कदम उठाने तथा व्यापक कार्रवाई करने की मांग की. उन्होंने उम्मीद जतायी कि आयोग ने जिस तरह से उनकी बात सुनी है और कांग्रेस ने जिन तथ्यों के साथ आयोग को 31 पेज की विस्तृत रिपोर्ट सौंपी है उसे देखते हुए उम्मीद की जाती है कि इस मामले में आयोग जल्द कदम उठाएगा.