सिख संगठन प्रमुख अकाल तख्त जत्थेदार ने सोमवार को राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) पर प्रतिबंध लगाने की मांग की है. उन्होंने सोमवार को कहा कि RSS जिस तरह से काम कर रहा है, उससे इतना तो साफ है कि यह देश को बांट देगा. अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने कहा कि सभी धर्म और संप्रदाय के लोग भारत में मिल कर रहते हैं, यही इसकी खूबसूरती है. आरएसएस ने कहा है कि वो इसे ‘हिन्दू राष्ट्र’ बनायेंगे, यह गलत है, यह देशहित में नहीं है.
Akal Takht Chief Giani Harpreet Singh: People of all religions and faiths live in India. This is the beauty of India. RSS (Rashtriya Swayamsevak Sangh) has said that India will be made a 'Hindu Rashtra'. It is wrong. This is not in the interest of the country. pic.twitter.com/K7oCOTjRs3
— ANI (@ANI) October 15, 2019
अमृतसर में पत्रकारों से बातचीत के दौरान जब ज्ञानी सिंह से पूछा गया कि आरएसएस तो बीजेपी का वैचारिक मार्गदर्शक है और एक दूसरे से जुड़े हुए हैं? तो इसके जवाब में उन्होंने कहा, ‘फिर ये देशहित में नहीं है. यह विचारधारा देश को तबाह कर देगी, बर्बाद कर देगी.’
"The remarks by #RSS leaders are not in the interest of the nation…," Akal Takht says
https://t.co/1Ne7satPAV— The Hindu (@the_hindu) October 15, 2019
ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने कहा,जिस तरह से आरएसएस काम कर रहा है उसे देखते हुए लगता है कि यह देश को बांट देगा, इसलिए इस पर प्रतिबन्ध लगा देना चाहिए.
"In India we have Hindus, Muslims, Christians, Buddhists, Sikhs, Parsis. RSS call for Hindu Rashtra is against India's interests": Akal Takht chief Giani Harpreet Singh. | @AdityaMenon22 https://t.co/ldklWgzn8k
— The Quint (@TheQuint) October 15, 2019
गौरतलब है कि पिछले शनिवार को ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर में संघ प्रमुख मोहन भागवत ने कहा था कि भारत का मुसलमान सबसे ज्यादा सुखी है, क्योंकि हम हिंदू हैं. उन्होंने कहा था, ‘मारे-मारे यहूदी फिरते थे, अकेले भारत है जहां उनको आश्रय मिला. पारसियों की पूजा और मूल धर्म सुरक्षित केवल भारत में है. विश्व में सर्वाधिक सुखी मुसलमान, भारत में मिलेगा. ये क्यों है? क्योंकि हम हिंदू हैं.’
संघ की अपने राष्ट्र के पहचान के बारे में, हम सबकी सामूहिक पहचान के बारे में, हमारे देश के स्वभाव की पहचान के बारे में स्पष्ट दृष्टि व घोषणा है, वह सुविचारित व अडिग है, कि भारत हिंदुस्थान, हिंदू राष्ट्र है।- सरसंघचालक #RSSVijayaDashami pic.twitter.com/eQBhEIeaTR
— RSS (@RSSorg) October 8, 2019
पिछले दिनों शिरोमणी गुरुद्वारा प्रबंधक कमिटी अध्यक्ष गोबिंद सिंह लोंगोवाल ने भी संघ प्रमुख मोहन भागवत के ‘हिंदू राष्ट्र’ वाले बयान पर आपत्ति ज़ाहिर की थी.
बीते दिनों मोहन भागवत ने देश में हो रही मॉब लिंचिंग की अलग-अलग घटनाओं को लेकर भी एक बड़ा बयान दिया था. उन्होंने कहा था कि ‘भीड़ हत्या’ (लिंचिंग) पश्चिमी तरीका है और देश को बदनाम करने के लिए भारत के संदर्भ में इसका इस्तेमाल नहीं किया जाना चाहिए.उन्होंने कहा था कि ‘लिंचिंग’ शब्द की उत्पत्ति भारतीय लोकाचार से नहीं हुई, ऐसे शब्द को भारतीयों पर ना थोपा जाए.
इससे पहले राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ प्रमुख मोहन भागवत ने असम में एनआरसी से लोगों के बाहर होने को लेकर लोगों की चिंताओं को दूर करने के प्रयास के तहत कहा था कि एक भी हिंदू को देश छोड़कर नहीं जाना पड़ेगा.
सिख धर्म की सर्वोच्च धार्मिक संस्था अकाल तख्त के जत्थेदार (नेता) ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने आरएसएस पर प्रतिबंध की मांग करके राजनीतिक हलकों में हलचल पैदा कर दी है. इस धार्मिक नेता के विवादित बयान के बाद बीजेपी ने नाराजगी जाहिर करते हुए हरप्रीत के बयान को दुर्भाग्यपूर्ण और तथ्यों से परे बताया.