किसानों ने बॉर्डर पर दंगल सजाकर ठोंकी ताल, बीजेपी नेताओं का होगा सामाजिक बहिष्कार!

संयुक्त किसान मोर्चा' ने कहा कि हम देश-दुनिया की जनता से अपील करते है कि 13 जनवरी को लोहड़ी का पर्व तीनों कृषि कानूनों की प्रतियां जलाकर मनाया जाए। 14 जनवरी का सक्रांत का दिन, देशभर में अनेक राज्यों में पारंपरिक तरीके से मनाया जाएगा, जिसमें किसानों के समर्थन में कार्यक्रम किये जायेंगे। 18 जनवरी को 'महिला किसान दिवस' पर देशभर में तहसील, जिला एवं शहर स्तर पर और दिल्ली बॉर्डर के मोर्चे पर महिलाएं आंदोलन की अगुवाई करेंगी। यह दिन कृषि में महिलाओं के अहम योगदान के सम्मान के रूप मनाया जाएगा। 20 जनवरी को गुरु गोविंद सिंह की के प्रकाश पर्व पर देश दुनिया में किसानी संघर्ष को कामयाब करने की संकल्प/शपथ ली जाएगी।

मोदी सरकार के कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन चला रहे ‘संयुक्त किसान मोर्चा’ ने कहा है कि पंजाब भाजपा के नेता हरजीत ग्रेवाल और सुरजीत ज्याणी लगातार किसानों के खिलाफ बयानबाज़ी कर रहे हैं। इन नेताओं ने मर्यादा पार करते हुए किसान आंदोलन को तोड़ने का दावा किया है। इसलिए ‘संयुक्त किसान मोर्चा’ अपील करता है कि लोग हरजीत ग्रेवाल और सुरजीत ज्याणी का सामाजिक बहिष्कार करें और पंजाब में उनके प्रवेश का विरोध करें।

इसके साथ ही ‘संयुक्त किसान मोर्चा’ ने सभी प्रदर्शनकारी किसानों से विनम्र अपील की है कि कृपया अपने स्वयं के जीवन को खत्म करने जैसा कोई फैसला न लें। यह एक बहुत मजबूत और ऐतिहासिक आंदोलन है। सरकार को किसानों की मांगों को जल्द या देर से स्वीकार करना ही होगा। आत्महत्या किसी समस्या का हल नहीं है बल्कि यह अपने आप में एक समस्या है। सयुंक्त किसान मोर्चा की तरफ से इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए आगामी समय में अनेक गतिविधियां आयोजित की जाएगी।

‘संयुक्त किसान मोर्चा’ ने कहा कि हम देश-दुनिया की जनता से अपील करते है कि 13 जनवरी को लोहड़ी का पर्व तीनों कृषि कानूनों की प्रतियां जलाकर मनाया जाए। 14 जनवरी का सक्रांत का दिन, देशभर में अनेक राज्यों में पारंपरिक तरीके से मनाया जाएगा, जिसमें किसानों के समर्थन में कार्यक्रम किये जायेंगे। 18 जनवरी को ‘महिला किसान दिवस’ पर देशभर में तहसील, जिला एवं शहर स्तर पर और दिल्ली बॉर्डर के मोर्चे पर महिलाएं आंदोलन की अगुवाई करेंगी। यह दिन कृषि में महिलाओं के अहम योगदान के सम्मान के रूप मनाया जाएगा। 20 जनवरी को गुरु गोविंद सिंह की के प्रकाश पर्व पर देश दुनिया में किसानी संघर्ष को कामयाब करने की संकल्प/शपथ ली जाएगी।

‘सयुंक्त किसान मोर्चे’ के नाम से सोशल मीडिया पर कुछ विवाह निमंत्रण पत्र वायरल हो रहे हैं। मीडिया के माध्यम से हम यह स्पष्ट कर रहे हैं कि इस तरह के पत्र ‘सयुंक्त किसान मोर्चा’ द्वारा प्रसारित नहीं है। हम इस तरह के महिला विरोधी और विभाजनकारी प्रयासों की कड़ी निंदा करते हैं।

गाजीपुर बॉर्डर पर शहीद किसानों की याद में महिलाओं और पुरुषों के लिए कुश्ती प्रतियोगिता आयोजित की गई। टीकरी बॉर्डर पर हरियाणा से बड़ी संख्या में किसान मोर्चो में शामिल होते जा रहे हैं। गावों शहरों में निकाले गए ट्रैक्टर मार्च के बाद राजस्थान के किसान भी शाहजहांपुर और अन्य सीमाओं पर पहुँच रहे हैं।

‘संयुक्त किसान मोर्चा’ ने कहा कि किसानों का देशव्यापी आंदोलन अब और भी मजबूत हो रहा है। ओडिशा के 20 से ज्यादा जिलों में किसानों ने छोटी छोटी बैठकों के माध्यम से किसान आंदोलन को मजबूत करने का फैसला किया है। मुंबई में 16 जनवरी को “मुम्बई फ़ॉर फार्मर्स” के द्वारा मरीन लाइन्स से आज़ाद मैदान तक रैली के बाद जनसभा आयोजित की जाएगी।

नवनिर्माण किसान संगठन द्वारा भुवनेश्वर से दिल्ली बॉर्डर तक 15 जनवरी से 21 जनवरी तक किसान “दिल्ली चलो यात्रा” नाम से जागृति यात्रा निकाली जाएगी। NAPM के सैंकड़ों कार्यकर्ता शाहजहांपुर बॉर्डर पर पहुंच चुके हैं। उन्होंने आदिवासी नृत्य और गीतों के माध्यम से संघर्ष में पहुचे लोगों का उत्साहवर्धन किया।

राजस्थान में बड़े स्तर पर किसान प्रदर्शन कर रहे है। श्रीगंगानगर, हनुमानगढ़ समेत कई उतरी जिलों में किसानों ने ट्रेक्टर मार्च निकालकर अपना विरोध जताया वहीं मजदूर किसान शक्ति संगठन ने भीम से किसान जागृति रैली की शुरुआत की है। यह रैली जगह जगह संवाद करते हुए दिल्ली के बॉर्डर पर हो रहे धरनों में शामिल होगी।


संयुक्त किसान मोर्चा की ओर से डॉ दर्शन पाल द्वारा जारी

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