पूर्वी दिल्ली के मयूर विहार इलाके में हाल में हुई दिल्ली कैंट की घटना को दोहराया गया है। उस केस में 9 वर्षी बच्ची को अभी इंसाफ तक नही मिला था की एक दूसरी छह साल की मासूम जिंदगी से जंग लड़ रही है। बच्ची के साथ दुष्कर्म किया गया है। बच्ची के पड़ोस में रहने वाला एक 30 वर्षीय युवक ने इस वारदात को अंजाम दिया। युवक मासूम को बहला-फुसला कर एक खाली कमरे में ले गया और वहीं इस दरिंदगी को अंजाम दिया।
पूरा मामला…
बच्ची और उसका परिवार दिल्ली त्रिलोकपुरी इलाके में रहते है । इसके परिवार में माता-पिता के अलावा अन्य सदस्य हैं। बच्ची बुधवार शाम को घर के बाहर खेल रही थी, तभी पास का रहने वाला आरोपी शख्स समुगन बच्ची को बहला-फुसलाकर ले गया और अपने घर में उसके साथ रेप किया। उसने बच्ची को कुछ ना बताने की धमकी देकर भेज दिया, जिससे बच्चे काफी डर गई। लेकिन शाम तक उसकी हालत गंभीर होने पर परिजनों ने शाम करीब चार बजे पुलिस को खबर दी। बच्ची की मेडिकल रिपोर्ट से पता लगा कि बच्ची के साथ रेप किया गया है। बच्ची को गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती कराया गया। वहां उसकी हालत गंभीर बनी हुई है। फिलहाल पुलिस ने शख्स को हिरासत में लिया है ।
पुलिस पर लापरवाही के गंभीर आरोप..
बता दें, परिजनों ने पुलिस पर लापरवाही के गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है की पुलिस ने मामले में लापरवाही बरती और इसको गंभीरता से नहीं लिया। देर रात को इलाके में खबर फैली तो लोगों ने मयूर विहार थाने पर जमकर विरोध प्रदर्शन किया और आरोपी को फांसी देने की मांग की।
रात को कांग्रेस अध्यक्ष अनिल चौधरी, एलबीएस अस्पताल बच्ची का हाल जानने पहुंच गए। अनिल ने भी पुलिस पर लापरवाही बरतने के आरोप लगाए।
घटना की खबर मिलने के बाद कोंडली से आम आदमी पार्टी के विधायक कुलदीप कुमार भी अस्पताल पहुंचे। उन्होंने पुलिस पर परिवार को बंधक बनाने का आरोप लगाया। विधायक ने कहा कि दिल्ली कैंट के बाद अब पूर्वी दिल्ली में मासूम को निशाना बनाया गया है
पहले लापरवाही से इनकार, फिर एसएचओ को निलंबित..
वहीं पहले तो पुलिस अधिकारियों ने किसी भी तरह की लापरवाही बरने की बात से इंकार किया। लेकिन उधर, उत्तर पश्चिम दिल्ली में आदर्श नगर थाने के एसएचओ को ड्यूटी के प्रति ‘गैर पेशेवर’ व्यवहार और पीसीआर कॉल पर सही तरीके से कार्रवाई नहीं करने के आरोप में निलंबित किया गया है।
आरोपी पर पॉक्सो सहित अन्य धाराएं..
मामले की छानबीन कर रही पुलिस के अनुसार, गिरफ्तार किए गए आरोपी पर आईपीसी की धारा 376 एबी (12 साल से कम उम्र की महिला पर बलात्कार की सजा) और पॉक्सो और एससी/एसटी अधिनियम की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। दिल्ली पुलिस ने बताया कि बच्ची का मेडिकल करने के बाद उसे चाइल्ड स्पेशलिस्ट की राय के लिए एम्स रेफर कर दिया गया है।
कब तक बच्चियां, महिलाएं होंगी शिकार..
1 अगस्त को दिल्ली कैंट इलाके में एक पंडित और श्मशान घाट के 3 कर्मचारियों द्वारा एक 9 वर्षीय बच्ची के साथ कथित तौर पर रेप के बाद हत्या की गई थी। दिल्ली में 2 महीनों में दो बच्चों के साथ रेप का मामला सामने आया है। देश में ना ही महिलाएं सुरक्षित है, ना नाबालिक बच्चियां। एक मामला शांत नही होता की दूसरा मामला सामने आ जाता है। आरोपी बिना सरकार और कानून के डर से बच्ची और महिलाओं के साथ दरिंदगी को अंजाम देते रहते हैं। जिससे साफ हैं की सरकार और कानून का डर आरोपियों में खत्म हो गया है।
एक तरफ महिला सुरक्षा की बात की जाती है तो वहीं दूसरी तरफ सिर्फ बड़ी – बड़ी धाराएं लगा कर आरोपियों को जेल में डाल दिया जाता है। कुछ में आरोप साबित नही हो पता, तो कुछ में कैद हो जाती है। कुछ ही गिने चुने मामले होते है। जिनमे कानून कड़ी सजा सुनाता है। उसमे भी सालों का वक्त गुजार जाता है तब तक आरोपी चैन से जेल में जिंदगी बिताते है।