भाजपा एमएलए और AAP सांसद में खाना बंटवाने को लेकर विवाद, बिना बांटे राशन की गाड़ी वापस लौटी

कांग्रेस द्वारा मजदूरों को उनके घर पहुंचाने के लिए 1000 बसों की स्वीकृति दिए जाने के बाद भी अंततः एक भी मजदूर उन बसों से अपने घर नहीं जा पाया। बसों को लेकर उत्तर प्रदेश सरकार और कांग्रेस एक-दूसरे पर राजनीति करने का आरोप लगाते रहे। इसी क्रम में एक वीडियो सामने आई है। जिसे 22 मई को आम आदमी पार्टी के नेता संजय सिंह ने ट्वीट किया है। वीडियो में दिख रहा है कि मोदीनगर से भाजपा विधायक डॉ मंजू सिवाच एक कॉलेज के सामने आम आदमी पार्टी के द्वारा खाना बांटे जाने का विरोध कर रही हैं। वीडियो में सुना जा सकता है कि भाजपा MLA वहां पहुंच कर कहती हैं कि हमें पता चला है कि आम आदमी पार्टी की तरफ़ से खाना बंटेगा ,खाना तहसील की ज़िम्मेदारी है, तहसीलदार का काम है कि किससे मदद ले और किससे नहीं ? वीडियो को ट्वीट करते संजय सिंह ने लिखा है कि न खिलाएंगे न खिलाने देंगे। मोदी नगर के आप कार्यकर्ताओं के साथ बहस करती भाजपा विधायक डॉक्टर मंजू जी। प्रधानमंत्री जी कह रहे रहे हैं “सबका सहयोग लेकर इस संकट से निपटना है” उनकी पार्टी की विधायक कह रही हैं “सहयोग नहीं करने दूंगी”

https://twitter.com/SanjayAzadSln/status/1263799170290180102

इस संबंध में मोदी नगर के आम आदमी पार्टी के विधानसभा प्रभारी सचिन तेवतिया से फ़ोन पर हुई बातचीत में उन्होंने पूरा मामला बताया। सचिन ने हमें बताया कि संजय सिंह और विधायक दिलीप पांडेय गिन्नी देवी गर्ल्स कॉलेज में रुके मजदूरों के लिए राशन के साथ ही अन्य ज़रूरी खाद्य सामग्री लेकर आये थे। लेकिन थोड़ी ही देर में वहां पुलिस एसडीएम और अन्य भाजपा के कार्यकर्ताओं समेत मोदीनगर की  विधायक डॉक्टर मंजू सिवाच आ गयीं। हम पर राजनीति का आरोप लगाते हुए उन्होंने हमें गरीब मजदूरों को खाना बांटने से मना कर दिया। विधायक डॉक्टर मंजू सिवाच ने कहा कि हम सक्षम हैं हम अपने आप खाना बांट लेंगे और बांट रहे हैं। आप यहां राजनीति मत करिए। सचिन फ़ोन पर आगे बताते हैं कि हम तो तब वहां खाना बांटने गए थे, जब हमें पता चला कि मजदूरों को उचित भोजन सामग्री नहीं मिल पा रही है। यहां तक कि वहां पर पानी की भी सुचारू व्यवस्था नहीं हैं। मजदूरों के रुकने के स्थान से थोड़ी दूर स्थित हैंडपंप पर जाकर उन्हें पानी पीना पड़ता है। इसलिए वहां ये खाद्य सामग्री लेकर गए थे। साथ ही गर्मी की वजह से वहां रुके हुए मजदूरों को काफ़ी समस्या हो रही थी। जिसके लिए कूलर भी लगवाने का प्रबंध करना था। काफ़ी समय तक चली नोक-झोंक के बाद भी हम मजदूरों को खाना नहीं बांट पाए यहां तक कि विधायक जी ने कॉलेज का गेट भी नहीं खुलने दिया। अंत में हम सब वहां से चले गए। खाद्य सामग्री की गाडियां भी वहां से कहीं और चली गयीं।

आम आदमी पार्टी ने अपने ट्विटर हैंडल से एक ट्वीट किया है। जिसमें लिखा है कि ये दुर्भाग्यपूर्ण है कि प्रवासी मजदूर नंगे पांव चल रहे हैं, ट्रेन चलायी नहीं जा रही है। हम अगर मजदूरों को खाना बांटे तो भाजपा विधायक खाना बांटने का विरोध कर कर रही हैं।

इस मामले में भाजपा विधायक मंजू सिवाच का कहना है कि आम आदमी पार्टी को गरीबों की मदद करनी है तो वो दिल्ली में ही करें। यहां मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सभी लोगों के लिए उचित व्यवस्था करवा रहे हैं। आम आदमी पार्टी सिर्फ़ ये साबित करना चाहती है कि हम (भाजपा) राशन नहीं दे पा रहे हैं इसलिए आप पार्टी यहां खाद्य सामग्री का वितरण कर रही है।

पहले कांग्रेस के द्वारा बसों को लेकर जो राजनीति हुई है कि बसों की व्यवस्था के बाद भी एक मजदूर उनसे अपने घर नहीं जा पाया। अब मोदीनगर की विधायक डॉक्टर मंजू सिवाच का आम आदमी पार्टी द्वारा खाना बांटने का विरोध किया जाना । भाजपा के द्वारा किया गया दावा “सबके सहयोग से इस संकट से निपटना है” से एकदम उलट प्रतीत होता है।

 

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