असम: पूर्वोत्तर परिषद के 68वें पूर्ण सत्र में अमित शाह ने कहा-‘अनुच्‍छेद 371 को नहीं छेड़ा जाएगा’

 

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने रविवार को कहा कि अनुच्छेद 371 से कोई छेड़छाड़ नहीं की जाएगी. यह अनुच्छेद असम के साथ पूर्वोत्तर के सभी राज्यों को विशेष दर्जा प्रदान करता है. राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) की रिपोर्ट जारी होने के बाद अमित शाह की यह पहली असम यात्रा है. असम के गुवाहाटी में पूर्वोत्तर परिषद के 68वें पूर्ण सत्र को संबोधित करते हुए केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि मैं आज पूर्वोत्तर के आठ मुख्यमंत्रियों की उपस्थिति में फिर से यह कह रहा हूं कि केंद्र अनुच्छेद 371 को नहीं छूएगा.

उत्तर पूर्वी परिषद (एनईसी) की 68वीं पूर्णकालिक बैठक को संबोधित करते हुए शाह ने कहा, “जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद यहां के लोगों को डर था कि अनुच्छेद 371 भी हटाया जाएगा. मैं उन लोगों को आश्वस्त करता हूं कि इससे कोई छेड़छाड़ नहीं की जाएगी.”

उन्होंने कहा कि संविधान सभा ने अस्थाई प्रावधान के रूप में अनुच्छेद 370 को रखा था लेकिन अनुच्छेद 371 पूर्वोत्तर में विशेष प्रावधानों के संदर्भ में है. उन्होंने कहा, ‘‘मेरा मानना है कि इन दोनों में अंतर को स्पष्ट करना महत्वपूर्ण है. मैं यह स्पष्ट कर दूं कि प्रधानमंत्री और भाजपा सरकार अनुच्छेद 371 और 371 (ए) का सम्मान करती है.’’

गृह मंत्री ने कहा कि यह गलत संदेश देने के प्रयास किये जा रहे है कि भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार अनुच्छेद 371 को निरस्त करेगी और ऐसा वे लोग कर रहे हैं जो पूर्वोत्तर में शांति नहीं चाहते है. राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) के मुद्दे पर गृह मंत्री ने कहा, ‘‘विभिन्न तबके के लोगों ने एनआरसी पर कई तरह के सवाल उठाये. मैं यह स्पष्ट करना चाहता हूं कि भाजपा नीत सरकार किसी भी अवैध प्रवासी को देश में रहने की अनुमति नहीं देगी. यह हमारी प्रतिबद्धता है.’’

उन्होंने इस दौरान यह भी कहा कि बब्रुवाहन हो या घटोत्कच हो, दोनों नॉर्थ ईस्ट के थे. अर्जुन की शादी भी यही मणिपुर में हुई थी. श्री कृष्ण के पोते का विवाह भी नॉर्थ ईस्ट मे हुआ था.

गौरतलब है कि जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद पूर्वोत्तर के लोगों को इस बात का डर सता रहा था कि कहीं अनुच्छेद 371 को भी कहीं केंद्र सरकार न हटा दे, लेकिन गृह मंत्री के इस बयान के बाद अब इस पर विराम लग गया है.

 

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